Published on: May 10, 2025
By: Agency
Location: New Delhi, India
पाकिस्तान के पूर्व प्रधानमंत्री और पाकिस्तान मुस्लिम लीग-नवाज (PML-N) के प्रमुख मियां नवाज शरीफ की हालिया पाकिस्तान वापसी ने देश की सियासी और कूटनीतिक हलकों में हलचल मचा दी है। नवाज शरीफ, जो 2019 में स्वास्थ्य कारणों से लंदन गए थे, अप्रैल 2025 में लंदन से पाकिस्तान लौटे। उनकी वापसी का समय और संदर्भ, विशेष रूप से भारत-पाकिस्तान के बीच बढ़ते तनाव और हाल के कूटनीतिक घटनाक्रमों के बीच, इसे और भी महत्वपूर्ण बनाता है। इस रिपोर्ट में उनकी वापसी के कारणों, संभावित प्रभावों और इसके व्यापक निहितार्थों का विश्लेषण किया गया है।
नवाज शरीफ, जो तीन बार (1990-1993, 1997-1999, 2013-2017) पाकिस्तान के प्रधानमंत्री रह चुके हैं, 2019 में अल-अजीजिया स्टील मिल भ्रष्टाचार मामले में सजा के बाद स्वास्थ्य उपचार के लिए लंदन गए थे। उनकी अनुपस्थिति में, उनके खिलाफ गैर-जमानती गिरफ्तारी वारंट जारी किए गए थे। हालांकि, 2023 में उनकी वापसी के बाद कानूनी राहत और PML-N की मजबूत स्थिति ने उन्हें फिर से सक्रिय राजनीति में ला खड़ा किया। अप्रैल 2025 में उनकी लंदन से वापसी, खासकर भारत द्वारा सिंधु जल संधि को निलंबित करने और ‘ऑपरेशन सिंदूर’ जैसे सैन्य कदमों के बाद, एक रणनीतिक कदम माना जा रहा है।
जैसा कि सर्वविदित है कि हाल के महीनों में, जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले के बाद भारत ने कड़े कदम उठाए, जिनमें सिंधु जल संधि को निलंबित करना और पाकिस्तान में आतंकी ठिकानों पर ‘ऑपरेशन सिंदूर’ के तहत हवाई हमले शामिल हैं। इन कदमों ने पाकिस्तान में राजनीतिक और सैन्य हलकों में हड़कंप मचा दिया। नवाज शरीफ की वापसी को भारत के इन आक्रामक कदमों के जवाब में एक रणनीतिक कदम के रूप में देखा जा रहा है।
नवाज शरीफ की पाकिस्तान वापसी एक रणनीतिक और समयबद्ध कदम है, जो भारत-पाकिस्तान तनाव, पाकिस्तान की आंतरिक अस्थिरता और PML-N की राजनीतिक आवश्यकताओं से प्रेरित है। उनकी शांति और कूटनीति की वकालत क्षेत्रीय स्थिरता के लिए सकारात्मक हो सकती है, लेकिन यह पाकिस्तानी सेना, विपक्ष और भारत के रुख पर निर्भर करेगा। उनकी वापसी से पाकिस्तान की राजनीति में एक नया अध्याय शुरू हो सकता है, लेकिन कानूनी और राजनीतिक चुनौतियां इसे
नवाज शरीफ की वापसी PML-N को एकजुट करने और पार्टी के भीतर नेतृत्व के संकट को हल करने का प्रयास हो सकता है। उनकी बेटी मरियम नवाज, जो पंजाब की मुख्यमंत्री हैं, और भाई शहबाज शरीफ के साथ उनकी उपस्थिति पार्टी को एक मजबूत चेहरा प्रदान करती है। यह विशेष रूप से महत्वपूर्ण है क्योंकि इमरान खान की पार्टी, PTI, अभी भी एक मजबूत विपक्षी ताकत है।